- ग्रेटर नोएडा में बनेगी 5 जीडब्ल्यू सोलर सेल और 5 जीडब्ल्यू मॉड्यूल मैन्युफैक्चरिंग फैसिलिटी यह फैसिलिटी टॉपकॉन सोलर सेल और मॉड्यूल बनाएगी
इस परियोजना पर टिप्पणी करते हुए, एसएईएल इंडस्ट्रीज लिमिटेड के को-फाउंडर और डायरेक्टर, श्री सुखबीर सिंह आवला ने कहा , "हम उत्तर प्रदेश सरकार के प्रति आभार व्यक्त करते हैं कि उन्होंने एसएईएल इंडस्ट्रीज लिमिटेड पर सोलर मैन्युफैक्चरिंग फैसिलिटी स्थापित करने के लिए भरोसा जताया। यह अत्याधुनिक संयंत्र हमारी विनिर्माण क्षमताओं को विस्तार देने के साथ-साथ भारत में सौर ऊर्जा निर्माण के भविष्य को आकार देने में हमारी भूमिका को और सुदृढ़ करेगी। उत्तर प्रदेश में इस इंटीग्रेटेड फैसिलिटी की स्थापना से हम तकनीक और निर्माण प्रक्रिया को स्वदेशी स्तर पर लाएंगे। यह परियोजना न केवल राज्य की सौर नीति के अनुरूप है, बल्कि ‘विकसित भारत @2047’ और ‘आत्मनिर्भर भारत’ जैसे राष्ट्रीय अभियानों के लक्ष्यों में भी महत्वपूर्ण योगदान देगी। हमें विश्वास है कि यह पहल देश की घरेलू आपूर्ति श्रृंखला को मजबूत करने और सौर उपकरणों के आयात पर निर्भरता को कम करने की दिशा में एक निर्णायक कदम साबित होगी।"
यह प्लांट टॉपकॉन (टनल ऑक्साइड पैसिवेटेड कॉन्टैक्ट) सोलर सेल्स बनाएगा, जिन्हें सोलर सेल टेक्नोलॉजी में उनकी एफिशिएंसी स्टैंडर्ड्स के लिए विश्व स्तर पर पहचाना जाता है। इन सेल्स को इन-हाउस मॉड्यूल मैन्युफैक्चरिंग लाइन पर सोलर पैनल्स में असेंबल किया जाएगा। यह प्रोजेक्ट एसएईएलके अपने बढ़ते सोलर आईपीपी बिज़नेस और डोमेस्टिक सोलर वैल्यू चेन को बेहतर बनाने के लिए अपनी बैकवर्ड इंटीग्रेशन स्ट्रेटेजी पर भी ज़ोर देता है। एसएईएल के पास कुल 6.7+ जीडब्ल्यू के सोलर आईपीपी एसेट्स हैं, जिनमें पूरे भारत में ऑपरेशनल और अंडर-कंस्ट्रक्शन प्रोजेक्ट्स शामिल हैं और कंपनी के पास पहले से ही 3.5 जीडब्ल्यू की टॉपकॉन मॉड्यूल असेंबली कैपेसिटी है, जिसमें राजस्थान में 3.2 जीडब्ल्यू और पंजाब में 300 एमडब्ल्यू शामिल है। यह प्रोजेक्ट भारत सरकार की अप्रूव्ड लिस्ट ऑफ मॉडल्स एंड मैन्युफैक्चरर्स (एएलएमएम) पॉलिसी के साथ जुड़ा हुआ है।

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